Source: www.bhaskar.com
Posted by: RKS on 10-01-2017 00:55,
Type: Other , Zone: Western Railway)
- दरअसल डॉग ऑनर ने एक दिन पहले रेलवे से इसके लिए संपर्क भी किया था।
- क्या डॉग बुकिंग नहीं होने में रेलवे की गलती थी, इसका पता लगाने के लिए मंडल रेल प्रबंधक ने जांच के आदेश दिए हैं।
- हुआ यूं कि मनीष सक्सेना पत्नी के साथ ट्रेन संख्या 11089 भगत की कोठी-पुणे एक्सप्रेस के फ़र्स्ट एसी कोच के सी कूपे में जा रहे थे, उनके साथ डॉग भी था।
- सक्सेना की मानें तो उन्होंने यात्रा से एक दिन पहले भगत की कोठी स्टेशन पर पार्सल अधिकारी बीडी शर्मा से डॉग बुकिंग के बारे में बात की तो उन्हें बताया गया था कि ट्रेन चलने से 45 मिनट पहले पहुंच जाना, उसी समय बुकिंग हो जाएगी।
- सक्सेना 45 मिनट पहले पहुंच भी गए, लेकिन स्टेशन पर पार्सल बुकिंग करने वाला कर्मचारी मौजूद ही नहीं था।
- स्टेशन से एक कर्मचारी ने शर्मा को फोन भी लगाया लेकिन इस बात का जवाब नहीं मिला कि पार्सल बुकिंग बंद क्यों है। इस दौरान ट्रेन चलने का टाइम हो गया।
- उन्होंने टीटीई आईएस गौतम को पूरी बात बताई। वे डॉग को साथ लेकर सी कूपे में बैठ गए।
- कुछ देर बाद टीटीई आया और डॉग को बिना टिकट बता छह गुणा पेनल्टी के साथ 1980 रुपए मांगे। कायदे से डॉग की बुकिंग होती तो महज 300 रुपए ही किराया लगता।